सोनभद्र(अरविंद दूबे,गिरीश तिवारी) ओबरा थाना क्षेत्र स्थित बिल्ली मारकुंडी स्थित खनन क्षेत्र में आज सुबह खनन हादसा होने के कारण तीन लोग गंभीर रूप से घायल हो गए। घटना के बाद मौके पर अफरा तफरी का माहौल हो गया। घायल तीनों श्रमिकों को इलाज के लिए जिला अस्पताल लाकर भर्ती कराया गया जहां पर दोनों की हालत गंभीर देखते हुए उन्हें अन्यत्र के लिए रेफर कर दिया गया। उधर घटना की जानकारी मिलते ही जिला प्रशासन ने खनन स्थल पर पहुंच कर खनन कार्य को तत्काल प्रभाव से बंद करा दिया। मौके पर ओबरा क्षेत्राधिकारी व थानाध्यक्ष मौके पर पहुंच कर जांच में जुट गए। पुलिस विभाग का कहना है कि अभी जांच पड़ताल की जा रही है, अगर किसी प्रकार की कोई लापरवाही की गई होगी तो खनन विभाग को लिखा जाएगा। बताया थाना क्षेत्र के बिल्ली मारकुंडी स्थित खनन क्षेत्र में आज सुबह ब्लास्टिंग के दौरान खनन हादसा होने के कारण तीन श्रमिक गंभीर रूप से घायल हो गए। घटना के बाद मौके पर चीख पुकार मच गई। स्थानीय लोगों द्वारा तीनों घायलों को इलाज के लिए जिला अस्पताल लाकर भर्ती कराया गया जहां पर हालत गंभीर देखते हुए तीनों को अन्यत्र के लिए रेफर कर दिया गया। उधर घटना की जानकारी मिलते ही खनन विभाग की टीम व पुलिस क्षेत्राधिकारी समेंत अन्य प्रशासनिक अमला मौके पर पहुंच कर खनन कार्य बंद करा दिया। मामले जी जांच पड़ताल में जुट गई।
बोले अपर पुलिस अधीक्षक-
घटना के बारे में अपर पुलिस अधीक्षक ने जानकारी देते हुए बताया कि आज सुबह ब्लास्टिंग के दौरान खनन हादसा हुआ है जिसमें तीन लोग गंभीर रूप से घायल हो गए हैं जिन्हें इलाज के लिए ट्रामा सेंटर वाराणसी भर्ती कराया गया है वहा उनका उपचार चल रहा है। जहा तक ब्लास्टिंग का सवाल है तो मामले की जांच की जा रही है। दोषी मिलने पर संबंधित विभाग को कार्यवाई के लिए लिखा जाएगा।
यहां होता है जिंदगी का सौदा –
जिले के खनन क्षेत्र में पैसे के बल पर काम करने आए हुए मजदूर के जिंदगी का सौदा किया जाता है। देखा जाए तो हजारों फीट गहरी खाई में मजदूर काम करते हैं और अपने जिंदगी को दाव पर रखकर उनके द्वारा कार्य को अंजाम दिया जाता है। अगर कहीं दुर्घटना हो जाती है तो उनके परिवार को उसके आवाज में कुछ धन देकर पूरे मामले का दबाने का प्रयास खनन कर्ताओं द्वारा किया जाता है। सरकार भले ही खनन को लेकर काफी गंभीर हो लेकिन स्थानीय स्तर पर खनन कर्ताओं द्वारा सरकार को बदनाम करने का हमेशा प्रयास किया जाता है। वर्तमान सरकार में तो काफी हद तक खनन कर्ताओ द्वारा नियमों का पालन किया जा रहा है लेकिन पूर्ति सरकारों में सभी नियमों को ताख पर रखकर खनन किया जाता था।
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