सोनभद्र। ओबरा थाना क्षेत्र अंतर्गत रेनुका पार पनारी गांव में 25 दिन बाद डीएम के निर्देश पर शव को कब्र से निकाल कर आज कराया गया पोस्टमार्टम। मामला जानकर आपके भी होश उड़ जायेंगे। उल्लेखनीय है कि पनारी गांव निवासी रामबरन गौड़ अपने पोते के साथ जंगल में बकरी चरा रहा था इसी दौरान वन दरोगा अपने कर्मियों के साथ मौके पर पहुंचा और रामबरन गौड़ को लाठी डंडे से पिटाई कर दिया जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया, घायल अवस्था में अपने पोते के साथ रामबरन घर पहुंचा जिसे जिले के तमाम अस्पतालों में इलाज के बाद वाराणसी ट्रामा सेंटर में भर्ती कराया गया लेकिन वहां इलाज के दौरान रामबरन की मौत हो गई। इस मामले की शिकायत पुलिस व प्रशासन से की गई लेकिन किसी के द्वारा इस मामले में कोई भी कार्रवाई नहीं की गई। अंत में परिजन हताश होकर मृतक रामबरन के शव को अपने ही खेत में दफना दिए, वहीं मुख्यमंत्री पोर्टल और न्यायालय की शरण लेने के बाद जिलाधिकारी ने मामले में कार्रवाई करते हुए शव को कब्र से निकलकर पोस्टमार्टम कराए जाने का आदेश दिया, इसके बाद एसडीएम ओबरा की देखरेख में शव को कब्र से 25 दिन बाद बाहर निकाल कर पोस्टमार्टम की कार्रवाई की गई। ओबरा थाना के पनारी में हुई घटना को लेकर पीड़ित का कहना है कि वन दरोगा द्वारा मारपीट किए जाने की घटना के बाद इस मामले की शिकायत पुलिस व प्रशासन से की गई इसके साथ ही समाज कल्याण मंत्री संजीव गौड से भी मामले में कार्यवाही किए जाने को लेकर शिकायत की गई लेकिन इस मामले में कहीं से कोई कार्यवाही नहीं हुई फिर हाल पीड़ित परिजन घायल रामबरन को इलाज के लिए जिले में कई अस्पतालों में ले गए लेकिन चिकित्सकों द्वारा वाराणसी ट्रामा सेंटर ले जाने की सलाह पर वाराणसी ट्रामा सेंटर में इलाज के लिए ले गए जहां 24 फरवरी को रामबरन की मौत हो गई। पीड़ित परिजनों का कहना है कि मृतक रामबरन समाज कल्याण मंत्री संजीव गांव के फूफा लगते हैं बावजूद इसके मंत्री के तरफ से इस मामले में पीड़ितों की कोई मदद नहीं की गई रामबरन की मौत के बाद परिजनों के द्वारा अंतिम संस्कार करने के बाद मामले की शिकायत मुख्यमंत्री पोर्टल और कोर्ट की शरण में गए । इसके बाद जिला अधिकारी के द्वारा मामले का संज्ञान लेते हुए पोस्टमार्टम कराए जाने का आदेश दिया गया। जंगल में बकरी चराने गए साथ में मृतक के पोते अनिल ने बताया कि जंगल में बकरी चराने के लिए वह अपने दादा के साथ गया था इसी दौरान वन विभाग के दरोगा वहां पहुंचे और लाठी डंडे वह कुल्हाड़ी के बेट से उसके दादा की पिटाई कर दी जिससे वह गंभीर रूप से घायल हो गया और इसके बाद वह घर पहुंचा और इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। इस मामले में एसडीएम ओबरा ने बताया शिवकुमार गौड़ के द्वारा यह शिकायत की गई की 13 फरवरी को उसके पिता रामबरन गौड़ की वन कर्मियों के द्वारा पिटाई के बाद 24 फरवरी को उसके पिता की मौत हो गई इसके बाद उसने शव का अंतिम संस्कार करते हुए जमीन में दफना दिया है । इस शिकायत की जानकारी जिला अधिकारी को दी गई जिनके द्वारा एक टीम गठित कर मामले में जांच करने के लिए निर्देशित किया गया था इसलिए शव को कब्र से बाहर निकाल कर पंचायत नामा कर पोस्टमार्टम कराया जा रहा है पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी।

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